बच्चों के लिए तो किसी सुपर हीरो से कम नहीं देशराज
- शिक्षक का बच्चों को पढ़ाने का है गजब का तरीका
- अन्य स्कूलों में भी पेरेंट्स देशराज की तरह पढ़ाने की कर रहे मांग
Chamba: कर दिखाओ कुछ ऐसा कि हर पेरेंट्स चाहे स्कूल में शिक्षक हो तो देशराज जैसा। यहां जिक्र भरमौर विधानसभा क्षेत्र के प्राइमरी स्कूल थल्ली सियुका के युवा शिक्षक का हो रहा है। स्कूल में लीक से हटकर काम करके सामरा निवासी देशराज ने आधुनिक तरीके से पढ़ाई का ऐसा माहौल बना रखा है कि अन्य सरकारी स्कूलों के साथ-साथ प्राइवेट स्कूल भी यहां की गतिविधियों को फॉलो करने लगे हैं।
शिक्षा खंड गरोला के अंतर्गत आने वाले थल्ली सियुका स्कूल की गतिविधियों से अन्य स्कूलों में पढ़ रहे बच्चों के अभिभावक तो इतने प्रभावित हुए हैं कि अब अन्य स्कूली बच्चों के पेरेंट्स ने भी वहां के शिक्षकों से देशराज की तरह ही अपने स्कूलों में पढ़ाई का माहौल बनाने का आह्वान करना शुरू कर दिया है। देशराज का गणित के विषय को अलग-अलग मॉडल के जरिये पढ़ाने का आसान तरीका बेहद अच्छा है। इसके अलावा भी छोटे-छोटे वीडियो के माध्यम से बच्चों को आधुनिक तकनीक के सहारे खेल-खेल में बहुत कुछ सिखाते रहते हैं।
स्कूली बच्चों को देशराज के प्यार और दुलार से पढ़ाने का तरीका इस कद्र भा चुका है कि कभी स्कूल न जाने की जिद्द करने वाले बच्चे भी अब कभी स्कूल मिस नहीं करते। आधुनिक तरीके से इस युवा शिक्षक का स्कूल में पढ़ाने का गजब का तरीका है। बच्चों को हर तरह से प्रोत्साहित करके उनका मनोबल बढ़ाना इस युवा शिक्षक की बड़ी क्वालिटी है।
सुबह-सुबह अकसर बच्चे स्कूल जाते वक्त मायूस हो जाते है, पर थल्ली सियुका ऐसा स्कूल है, जहां पर बच्चे आते तो खुशी-खुशी है, पर जब छुट्टी होती है तो वह मायूस हो जाते हैं। क्योंकि स्कूल के खुशनुमा माहौल में बच्चों का संपूर्ण विकास हो रहा है। बच्चों की हिंदी और अंग्रेजी को प्राइमरी स्तर से ही परिपक्व करने के युवा शिक्षक देशराज के प्रयास सराहनीय है। इसीलिए तो जनजातीय क्षेत्र के इस स्कूल में प्राण फूंकने का काम करने वाले युवा शिक्षक देशराज का हर कोई मुरीद हो चला है ।